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चूड़ा-दही के भोज में शामिल हुए नीतीश कुमार, एलजेपी ने किया कार्यक्रम का आयोजन

 बिहार की राजनीति में मकर संक्रांति के मौके पर दही-चूड़ा भोज का आयोजन कोई नई बात नहीं हैं, लेकिन इसमें आने वाले अतिथियों के चेहरे जरूर बदलते रहे हैं. इस साल एलजेपी के प्रदेश कार्यालय में चूड़ा-दही के भोज का आयोजन किया गया है. साथ ही नीतीश कुमार सोमवार को जेडीयू के चूड़ा-दही के भोज में भी शामिल हुए.

इस वर्ष मकर संक्रांति के मौके पर एनडीए में शमिल जेडीयू और एलजेपी ने दही-चूड़ा भोज का आयोजन तो किया है लेकिन पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद और राबड़ी आवास पर सन्नाटा पसरा है. आरजेडी के एक नेता की मानें तो राबड़ी आवास पर इस वर्ष चूड़ा-दही भोज नहीं होने का कारण आरजेडी अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव का जेल में होना है. भोज का आयोजन नहीं होने के कारण महागठबंधन के नेताओं में मायूसी है. यह लगातार दूसरा साल है जब राबड़ी आवास पर ऐसे भोज का आयोजन नहीं हो रहा है.

उल्लेखनीय है कि बिहार में मकर संक्रांति के मौके पर राजद अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव आवास भी गुलजार होता था. इसमें लालू प्रसाद यादव अपनी पार्टी के साथ-साथ विरोधी दलों के नेताओं और कार्यकर्ताओं को भी निमंत्रण देकर बुलाते थे. भोज में लालू अपने परिवार के साथ खुद लोगों को चूड़ा-दही परोसते थे. हालांकि, इस बीच कांग्रेस ने 15 जनवरी यानी मंगलवार को प्रदेश कार्यालय में चूड़ा-दही भोज का आयोजन किया है, जिसमें महागठबंधन के सभी घटक दलों के नेताओं को आमंत्रित किया गया है.

जेडीयू के प्रवक्ता नीरज कुमार ने आईएएनएस को बताया कि सिंह पिछले 22 से ज्यादा समय से मकर संक्रांति के मौके पर भोज का आयोजन करते आ रहे हैं. इस वर्ष इस भोज के लिए चंपारण, शाहाबाद और भागलपुर व बांका से चूड़ा मंगाए गए हैं जबकि नालंदा की सब्जी आई है. पटना, गया और सासाराम से तिलकुट तो मोतिहारी से गुड़ लाया गया है.

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