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मदरसों के उलमाओं को समलैंगिक बताने पर बवाल, सूफी उलमा ने वसीम रिजवी को दी चेतावनी

मदरसों के उलमा को समलैंगिक बताने पर सूफी उलमा ने भी शिया वक्फ बोर्ड के चेयरमैन वसीम रिजवी के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। उलमा ने वसीम को देश में अमन व शांति के लिए खतरा बताते हुए उनके खिलाफ सीबीआई जांच कराने की मांग की। ऐसा न होने पर उलमा ने मोहर्रम के बाद शिया व सुन्नी मुसलमानों द्वारा आंदोलन शुरू करने की चेतावनी दी।

शुक्रवार को खानकाह आलिया बकईया के नायब सज्जादानशीन शाह सैयद हसनैन बकई ने कहा कि वसीम रिजवी सीबीआई जांच से बचने औरदेश का माहौल खराब करने के लिए विवादित बयान दे रहे हैं। उन्होंने कहा कि उन्होंने फेसबुक पर वीडियो अपलोड कर कहा कि समलैंगिकता पर कोर्ट के आदेश का सबसे ज्यादा फायदा मदरसों के उलमा को होगा।

उन्होंने कहा कि इस्लाम में समलैंगिकता को सबसे बड़ा गुनाह माना गया है। अगर उलमा इसमें शामिल हैं तो उनको नमाज पढ़ाने का कोई हक नहीं है। ऐसे में वसीम रिजवी बताएं कि उनकी मौत होने पर उनके जनाजे की नमाज कौन पढ़ाएगा।

‘हरे झंडे को पाकिस्तानी झंडा बताया’

बकाई ने कहा कि रिजवी ने इस्लामिक हरे झंडे को पाकिस्तानी झंडा बताया है। जबकि, खुद आईएस के काले झंडे को अपनी राजनीतिक पार्टी का झंडा बनाए हुए हैं।
मुख्यमंत्री से मिले मौलाना जव्वाद
रिजवी के विवादित बयानों को लेकर शुक्रवार को शिया धर्मगुरु मौलाना कल्बे जव्वाद ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात की और उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की। उन्होंने कहा कि अगर वसीम के बयानों से कोई फसाद होता है तो उसकी जिम्मेदारी सरकार और प्रशासन की होगी।

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