उत्तर प्रदेश

योगी के इस मंत्री ने जमकर साधा निशाना, कहा दलितों और किसानों के साथ हो रहा अन्याय

बरेली। योगी कैबिनेट के मंत्री ओम प्रकाश राजभर अब सभी छोटे दलों और जातियों के लोग जो अलग थलग रहते है, उन्हें अब एक मंच पर लाने के लिए सम्मेलन करने जा रहे हैं। उनका कहना है जब सरकार के अंदर सुनवाई नहीं हुई तो अब बाहर आकर बेहतर शिक्षा, रोजगार के लिए लोगों को एकजुट करेंगे। वहीं उन्होंने गन्ना किसानों का भुगतान समय पर नहीं होने को लेकर सीएम योगी पर भी निशाना साधा है। 

भागीदारी मंच का किया गठन

योगी के मंत्री ओम प्रकाश राजभर का कहना है कि उन्होंने भागीदारी आंदोलन मंच का गठन किया है। जिसमे सभी जाति के लोग अलग अलग लड़ते है। पार्टियां बनाकर लड़ते हैं ऐसे लोगों को हमने समझाने का प्रयास किया है और उनको एक मंच पर लाने का काम कर रहे हैं। उन्होंने ऐसे लोगों से कहा कि हमने समझाने कि कोशिश कि है उनसे कहा कि अलग अलग लड़कर आप सफल नहीं हो सकते। इसलिए 30 सितंबर को बरेली के नेहरू युवा केंद्र में एक सम्मेलन करने जा रहे हैं। ओम प्रकाश राजभर का कहना है सुप्रीम कोर्ट के चार जजों को भी मीडिया के सामने अपनी बात रखनी पड़ी थी। उन्होंने कहा कि हम सरकार में अपनी बात समय समय पर रखते रहे हैं लेकिन जब कोई सुनवाई नहीं हुई तो सरकार के बाहर लोगों को एकजुट करने निकले हैं। उन्होंने कहा कि बेहतर शिक्षा, रोजगार के लिए लोगों को अपने अधिकारों के लिए लड़ना होगा। उन्होंने कहा कि अभी तक चुनाव हिन्दू-मुस्लमान के नाम पर दंगा करवाकर होते आए हैं और उन दंगों में कभी कोई नेता नहीं मारा जाता है। 

इन जातियों को दी जाए फ्री कोचिंग

बरेली के सर्किट हाउस में पत्रकारों से बात करते हुए उन्होंने सीएम योगी के उस बयान पर निशाना साधा जिसमे उन्होंने गन्ना किसानो से कहा था कि गन्ना काम बोए उससे सुगर होती है। राजभर ने कहा कि चुनाव के दौरान मुख्मयमंत्री जी कहते थे कि सरकार बनते ही सबसे पहले गन्ना किसानों का भुगतान किया जाएगा लेकिन अब स्थति ये है कि अधिकांश किसानों का गन्ना भुगतान नहीं हुआ है। उन्होंने कहा कि पश्चिमी उत्तर प्रदेश का किसान गन्ना नहीं बोए. राजभर यही नहीं रुके उन्होंने कहा कि बाब साहब भीम राव अम्बेडकर ने चार जातियां बनाई थी। जिसमे एससी,एसटी के बेटे, बेटिओं को फ्री कोचिंग देकर डॉक्टर, मास्टर, इंजीनियर, कलेक्टर बनाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि सरकार से हमारी मांग है कि जो दो जातियां पिछड़ी और सामान्य बची हैं, उनके बेटे बेटिओं को भी फ्री कोचिंग देकर डॉक्टर, मास्टर, इंजीनियर, कलेक्टर बनाया जाए। 

शिक्षा में हो बदलाव

राजभर ने कहा कि प्राइमरी स्कूलों कि हालत बहुत खराब है, इसलिए उसमे संविदा पर या आउट सोर्सिंग के जरिए शिक्षक रखे जाए. उन्हें पहले साल में पांच हजार, दूसरे साल में दस हजार , तीसरे साल में १५ हजार और चौथे साल में २५ हजार रूपए दिए जाए और अगर सही काम नहीं करे तो दूसरे शिक्षकों की भर्ती कर ली जाए। इसके आलावा चौथी कक्षा से टेक्निकल शिक्षा अनिवार्य कि जाए। जिसमे इलेक्ट्रिक, मैकेनिकल जैसी तमाम चीजों कि जानकारी दी जाए ताकि बेरोजगारी को खत्म किया जा सके। गौरतलब है कि ओम प्रकाश राजभर इससे पहले भी सरकार में रहते हुए भी सरकार के खिलाफ जमकर बोलते रहे हैं। इससे पहले वो एससीएसटी एक्ट पर भी सरकार को कटघरे में खड़ा कर चुके है। 

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