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लखीमपुर खीरी हिंसा मामले पर कांग्रेस प्रतिनिधिमंडल करेगा राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मुलाकात

लखीमपुर हिंसा को लेकर विपक्ष लगातार केन्द्र सरकार पर हमलावर है. कांग्रेस इस पूरे मुद्दे पर राष्ट्रपति से मिलने का फैसला किया है. राहुल गांधी की अगुवाई में कांग्रेस का प्रतिनिधिमंडल बुधवार को लखीमपुर खीरी हिंसा मामले पर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मुलाकात करेगा.

इस बारे में कांग्रेस की तरफ से राष्ट्रपति कार्यालय से समय मांगा गया था, जिसकी इजाजत दे दी गई है. कांग्रेस के इस सात सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल में राहुल गांधी के अलावा राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे

वरिष्ठ नेता एके एंटनी, गुलाम नबी आजाद, लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी, पार्टी महासचिव प्रियंका गांधी वाद्रा और संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल शामिल होंगे.

कांग्रेस सूत्रों ने बताया कि पार्टी का यह प्रतिनिधिमंडल बुधवार को सुबह 11.30 बजे राष्ट्रपति से मुलाकात करेगा. हाल ही में कांग्रेस ने राष्ट्रपति को पत्र लिखकर मिलने का समय मांगा था. कांग्रेस लखीमपुर खीरी की घटना को लेकर केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय कुमार मिश्रा को बर्खास्त करने की मांग कर रही है.

गौरतलब है कि लखीमपुर खीरी जिले के तिकोनिया क्षेत्र में गत तीन अक्टूबर को उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य द्वारा केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा के पैतृक गांव के दौरे के विरोध को लेकर

भड़की हिंसा में चार किसानों समेत आठ लोगों की मौत हो गई थी. इस मामले में मिश्रा के बेटे आशीष समेत कई लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है. आशीष को शनिवार को गिरफ्तार कर लिया गया.

इससे पहले, कांग्रेस ने केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय कुमार मिश्रा को तत्काल बर्खास्त करने की मांग को लेकर सोमवार को देशभर में मौन विरोध प्रदर्शन किया, जिनके बेटे आशीष पर तीन अक्टूबर को लखीमपुर खीरी में अपनी एसयूवी से किसानों को कुचलने का आरोप है.

आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई और हिंसा में मारे गए किसानों को न्याय दिलाने की मांग को लेकर कांग्रेस नेता सभी जिला मुख्यालयों पर धरने पर बैठे. प्रियंका गांधी ने लखनऊ में विरोध प्रदर्शन का नेतृत्व किया, जहां वह जीपीओ पार्क में महात्मा गांधी की प्रतिमा के सामने पार्टी नेताओं के साथ “मौन व्रत” पर बैठीं.

आशीष को शनिवार को उत्तर प्रदेश पुलिस ने तीन अक्टूबर को हुई हिंसा के सिलसिले में गिरफ्तार किया था, जिसमें चार किसानों सहित आठ लोग मारे गए थे. जीपीओ पार्क में प्रियंका गांधी वाद्रा के साथ प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू, विधायक दल की नेता आराधना मिश्रा, विधान परिषद में पार्टी के नेता दीपक सिंह समेत उत्तर प्रदेश कांग्रेस के कार्यकर्ता और नेता शामिल हुए.

प्रियंका गांधी ने सवाल किया कि जब मिश्रा केंद्रीय गृह राज्य मंत्री हैं तो पीड़ित परिवारों को न्याय कैसे मिलेगा. कांग्रेस महासचिव ने यह भी कहा कि न्याय मिलने तक यह “सत्याग्रह” जारी रहेगा. कांग्रेस ने कहा कि जो किसान ‘‘दिनदहाड़े हुई हत्या’’ के चश्मदीद गवाह थे,

उन्होंने खुले तौर पर कहा कि केंद्रीय मंत्री के बेटे के वाहन ने उन्हें कुचल दिया. उसने घटना पर प्रधानमंत्री और गृह मंत्री की चुप्पी पर भी सवाल उठाया. मंत्री को बर्खास्त करने की मांग को लेकर दिल्ली कांग्रेस के नेता

और कार्यकर्ता उपराज्यपाल कार्यालय के पास ‘मौन व्रत’ पर बैठे. प्रदर्शन में शामिल होने वालों में दिल्ली कांग्रेस अध्यक्ष अनिल कुमार और पूर्व केंद्रीय मंत्री अश्विनी कुमार और कृष्णा तीरथ भी शामिल थीं.

अनिल कुमार ने प्रदर्शन शुरू करने से पहले कहा, ‘‘कांग्रेस राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों में राज्यपालों एवं उप राज्यपालों के कार्यालयों के बाहर ‘मौन व्रत सत्याग्रह’ कर रही है. हम केंद्रीय गृह राज्य मंत्री (अजय मिश्रा) के इस्तीफे और उनकी गिरफ्तारी की मांग कर रहे हैं जो लखीमपुर में हुई घटना की जांच को प्रभावित कर सकते हैं.’’

युवा कांग्रेस के नेता और कार्यकर्ता भी जंतर मंतर पर भी ‘मौन व्रत’ पर बैठे. मिश्रा को बर्खास्त करने की मांग को लेकर पंजाब कांग्रेस के कई नेता सोमवार को मौन व्रत पर बैठे. पंजाब कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष सुखविंदर सिंह डैनी,

विधायक इंद्रबीर सिंह बोलारिया, पार्टी की प्रदेश इकाई के महासचिव योगिंदर पाल ढींगरा के साथ अन्य कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने अमृतसर में मौन विरोध प्रदर्शन किया. उनके पास मामले में न्याय की मांग करने वाली तख्तियां थीं.

हरियाणा कांग्रेस अध्यक्ष कुमारी शैलजा ने पार्टी नेताओं और कार्यकर्ताओं के साथ सोमवार को सिरसा में मौन व्रत रखा. राजस्थान में कांग्रेस नेताओं ने भी प्रदेश कांग्रेस प्रमुख गोविंद सिंह डोटासरा के नेतृत्व में जयपुर में सिविल लाइंस रेलवे क्रॉसिंग के पास मौन विरोध प्रदर्शन किया।

परिवहन मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास और मुख्य सचेतक महेश जोशी ने भी इसमें भाग लिया. गुजरात कांग्रेस ने उच्चतम न्यायालय के किसी न्यायाधीश की सीधी निगरानी में इस घटना की जांच की मांग की.

गुजरात कांग्रेस के नवनियुक्त प्रभारी एवं राजस्थान सरकार में स्वास्थ्य मंत्री रघु शर्मा ने शहर के पालड़ी इलाके में महात्मा गांधी द्वारा स्थापित कोचराब आश्रम के बाहर पार्टी द्वारा आयोजित मौन विरोध का नेतृत्व किया.

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